मात-पिता के चरणों में नमन.... G...M... Hindi poem
रात चंदा ने लोरी गा कर सुलाया था, सुबह सूरज ने गुदगुदा के जगाया है.......! पर सुबह मेरी तब हुई मेरे यारो, जब मां ने मुझे बेटा कह के बुलाया है......! आंखें खुलते ही मां की सूरत जब देखी, मां की सूरत में जैसे मुझे रब नजर आया है......! सर झुकाया जब मात-पिता के चरणों में, मुझे जन्नत का द्वार भी वहीं नजर आया है.....! हर मुश्किल मेरी आसान होती गई, जब आशिर्वाद मैं ने उनका पाया है......! ढूंढता फिरूं मैं तुम्हें फिर क्यों मंदिरों में, जब मेरे माता-पिता में ही तुम समाए हो......! उनकी पुजा में ही तुम्हारी पुजा करूं, मात-पिता से बढ़कर यहां कौन दुजा है......!! मात-पिता के चरणों में नमन 🙏🌺 सुप्रभात मेरे दोस्तों 🔆🙏 प्रभात........