ना होती अगर मर्ज़ी ऊपर वाले की.....!!! Hindi suvichar
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ना होती अगर मर्ज़ी ऊपर वाले की, परिंदों को उड़ने के लिए आसमान न होता.....! होती तो कायनात मगर कायनात में, खुद को रब समझने वाला इंसान न होता.....! सिर्फ इल्म होता, इश्क़ होता और इबादत होती, हर शख्स के अंदर अगर शैतान न होता.....! रब एक ही रहता अगर खुदगर्जी न होती, मस्जिद में खुदा और मंदिर में भगवान् न होता....!!! प्रभात...........